Wildebeest analysis examples for:   hin-hin2017   Word*!    February 11, 2023 at 18:44    Script wb_pprint_html.py   by Ulf Hermjakob

9091  1KI 10:9  धन्य है तेरा परमेश्‍वर यहोवा*! जो तुझ से ऐसा प्रसन्‍न हुआ कि तुझे इस्राएल की राजगद्दी पर विराजमान किया यहोवा इस्राएल से सदा प्रेम रखता है, इस कारण उसने तुझे न्याय और धर्म करने को राजा बना दिया है।”
9338  1KI 17:18  तब वह एलिय्याह से कहने लगी, “हे परमेश्‍वर के जन*! मेरा तुझ से क्या काम? क्या तू इसलिए मेरे यहाँ आया है कि मेरे बेटे की मृत्यु का कारण हो और मेरे पाप का स्मरण दिलाए?”
12990  JOB 6:8  “भला होता कि मुझे मुँह माँगा वर मिलता और जिस बात की मैं आशा करता हूँ वह परमेश्‍वर मुझे दे देता*!
14628  PSA 45:4  हे वीर, तू अपनी तलवार को जो तेरा वैभव और प्रताप है अपनी कटि पर बाँध*!
14927  PSA 66:3  परमेश्‍वर से कहो, “तेरे काम कितने भयानक हैं*! तेरी महासामर्थ्य के कारण तेरे शत्रु तेरी चापलूसी करेंगे।
15028  PSA 70:3  जो मेरे प्राण के खोजी हैं, वे लज्जित और अपमानित हो जाए*! जो मेरी हानि से प्रसन्‍न होते हैं, वे पीछे हटाए और निरादर किए जाएँ।
15271  PSA 80:15  हे सेनाओं के परमेश्‍वर, फिर आ*! स्वर्ग से ध्यान देकर देख, और इस दाखलता की सुधि ले,
15338  PSA 85:5  हे हमारे उद्धारकर्ता परमेश्‍वर, हमको पुनः स्थापित कर, और अपना क्रोध हम पर से दूर कर*!
15540  PSA 96:9  पवित्रता से शोभायमान होकर यहोवा को दण्डवत् करो; हे सारी पृथ्वी के लोगों उसके सामने काँपते रहो*!
16195  PSA 128:1  क्या ही धन्य है हर एक जो यहोवा का भय मानता है, और उसके मार्गों पर चलता है*!
16373  PSA 143:10  मुझ को यह सिखा, कि मैं तेरी इच्छा कैसे पूरी करूँ, क्योंकि मेरा परमेश्‍वर तू ही है! तेरी भली आत्मा मुझ को धर्म के मार्ग में ले चले*!
16470  PSA 150:6  जितने प्राणी हैं सब के सब यहोवा की स्तुति करें*! यहोवा की स्तुति करो!
17356  PRO 31:2  हे मेरे पुत्र, हे मेरे निज पुत्र! हे मेरी मन्नतों के पुत्र*!
17844  ISA 6:5  तब मैंने कहा, “हाय! हाय*! मैं नाश हुआ; क्योंकि मैं अशुद्ध होंठवाला मनुष्य हूँ, और अशुद्ध होंठवाले मनुष्यों के बीच में रहता हूँ; क्योंकि मैंने सेनाओं के यहोवा महाराजाधिराज को अपनी आँखों से देखा है!”
18110  ISA 21:5  भोजन की तैयारी हो रही है, पहरूए बैठाए जा रहे हैं, खाना-पीना हो रहा है। हे हाकिमों, उठो, ढाल में तेल मलो*!
18702  ISA 48:18  भला होता कि तूने मेरी आज्ञाओं को ध्यान से सुना होता*! तब तेरी शान्ति नदी के समान और तेरा धर्म समुद्र की लहरों के समान होता;
20326  JER 51:45  हे मेरी प्रजा, उसमें से निकल आओ! अपने-अपने प्राण को यहोवा के भड़के हुए कोप से बचाओ*! (2कुरि. 6:17)
22726  MIC 6:9  यहोवा की वाणी इस नगर को पुकार रही है, और सम्पूर्ण ज्ञान, तेरे नाम का भय मानना है: राजदण्ड की, और जो उसे देनेवाला है उसकी बात सुनो*!
23171  MAL 1:13  फिर तुम यह भी कहते हो, 'यह कैसा बड़ा उपद्रव है*! सेनाओं के यहोवा का यह वचन है। तुम ने उस भोजनवस्तु के प्रति नाक भौं सिकोड़ी, और अत्याचार से प्राप्त किए हुए और लँगड़े और रोगी पशु की भेंट ले आते हो! क्या मैं ऐसी भेंट तुम्हारे हाथ से ग्रहण करूँ? यहोवा का यही वचन है।
23549  MAT 11:21  “हाय, खुराजीन*! हाय, बैतसैदा! जो सामर्थ्य के काम तुम में किए गए, यदि वे सोर और सीदोन में किए जाते, तो टाट ओढ़कर, और राख में बैठकर, वे कब के मन फिरा लेते।